Weather update: क्यों नहीं आया अभी तक केरल में मानसून, जानिए क्या होते हैं चक्रवात

 
Weather update: क्यों नहीं आया अभी तक केरल में मानसून, जानिए क्या होते हैं चक्रवात

Weather update: केरल में आमतौर पर 1 जून को मानसून दस्तक दे देता है। मौसम विभाग ने 4 जून का अनुमान लगाया था। मानसून तो नहीं आया, लेकिन अरब सागर में बना चक्रवात बिपरजॉय जरूर हमारी तरफ बढ़ रहा है। 8 राज्यों में आंधी के साथ भारी बारिश का अलर्ट जारी किया गया है। मौसम विभाग के मुताबिक सोमवार सुबह ईस्ट-सेंट्रल और इससे सटे साउथ-ईस्ट अरब सागर के ऊपर एक साइक्लोनिक सर्कुलेशन बना। 24 घंटे बाद ही ये चक्रवात में तब्दील हो गया। अरब सागर में साल के पहले प्री मानसून तूफान का नाम बिपरजॉय रखा गया है, जिसका नाम बांग्लादेश ने दिया है।मौसम विज्ञान विभाग ने बताया कि बुधवार सुबह 5.30 बजे बिपरजॉय चक्रवात की लोकेशन गोवा के पश्चिम-दक्षिण-पश्चिम में लगभग 890 किलोमीटर दूर थी। इसके उत्तर की ओर बढ़ने की संभावना है। लक्षद्वीप, कर्नाटक, गोवा और महाराष्ट्र, तमिलनाडु, गुजरात, केरल और आंध्र प्रदेश के तटीय इलाकों में अगले 5 दिन तक तेज हवाओं के साथ भारी बारिश की चेतावनी दी गई है।

चक्रवात क्या होते हैं और ये बनते कैसे हैं?

साइक्लोन शब्द ग्रीक भाषा के साइक्लोस (Cyclos) से लिया गया है, जिसका अर्थ है सांप की कुंडलियां। इसे ऐसा इसलिए कहा जाता है क्योंकि बंगाल की खाड़ी और अरब सागर में ट्रॉपिकल साइक्लोन समुद्र में कुंडली मारे सांपों की तरह दिखाई देते हैं।चक्रवात एक गोलाकार तूफान (सर्कुलर स्टॉर्म) होते हैं, जो गर्म समुद्र के ऊपर बनते हैं। जब ये चक्रवात जमीन पर पहुंचते हैं, तो अपने साथ भारी बारिश और तेज हवाएं लेकर आते हैं। ये हवाएं उनके रास्ते में आने वाले पेड़ों, गाड़ियों और कई बार तो घरों को भी तबाह कर सकती हैं।

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केरल में मानसून कब?

मानसून की उत्तरी सीमा बीते 4 दिनों से एक ही स्थान पर अटकी है। अरब सागर में जो बादल पश्चिमी हवा के साथ केरल की ओर बहुत धीमी गति से बढ़ रहे थे, वे अब साइक्लोनिक सर्कुलेशन की ओर खिंच गए हैं। ये बादल केरल की ओर कम हो गए हैं। इसी वजह से मानसून के आने में देरी हो रही है।

अब केरल में कब तक दस्तक देगा मानसून?

मौसम विभाग ने पहले 4 जून तक केरल में मानसून के आने की संभावना जताई थी। IMD के सीनियर साइंटिस्ट डी एस पाई ने बताया कि अगले दो से तीन दिनों में केरल में मानसून के दस्तक देने के लिए परिस्थितियां अनुकूल हैं। वहीं निजी मौसम एजेंसी स्काईमेट ने बताया कि केरल में मानसून 8 या 9 जून को पहुंच सकता है। इससे पहले स्काईमेट ने केरल में 7 जून तक मानसून के पहुंचने की संभावना जताई थी।

इस बार सूखा पड़ने की आशंका है?

IMD के सीनियर साइंटिस्ट डॉ. राजेंद्र कुमार जेनामनी के मुताबिक केरल में मानसून भले देरी से आएगा, लेकिन इसमें चिंता वाली कोई बात नहीं है। उन्होंने बताया कि मानसून के देरी से आने का मतलब यह नहीं है कि बारिश भी कम होगी। आजादी के बाद से अब तक सिर्फ 6 बार ही मानसून अपनी तय तारीख यानी 1 जून को केरल में पहुंचा है। 11 बार मानसून 25 मई से पहले ही पहुंच गया, जबकि 11 बार मानसून 7 जून के बाद आया। वहीं जिन 8 सालों में सामान्य से 10% ज्यादा बारिश हुई, उनमें 1983 भी शामिल है तब मानसून 13 जून को आया था। जिन 14 सालों में सूखा पड़ा, उनमें से 9 बार मानसून 1 जून से पहले ही आ चुका था।

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