Covid 19 Heart Attack: कोरोना होने पर 18 महीनें तक बना रहता है खतरा, डरा देने वाली रिसर्च आई सामने, मौत भी हो सकती इसे

Heart Attack

Image Credit: Pixabay

दुनिया कोरोना वायरस के प्रकोप से अब धीरे-धीरे बाहर आ रही है। कोरोना पॉजिटिव हुए कुछ मरीजों को अब पोस्ट कोविड परेशान कर रहा है। वायरस ने उनके शरीर को कमजोर कर दिया है जिस वजह से छोटी बीमारी भी ऐसे लोगों के लिए बड़ी बन जाती है। इस बीच शोधकर्ताओं ने गुरुवार को चेतावनी दी कि कोविड-19 रोगियों में संक्रमित होने के बाद कम से कम 18 महीने तक मौत का खतरा बढ़ जाता है। महामारी के दौरान ऐसे कई मामले देखे गए जिनमें कोरोना को हराने के कुछ दिन बाद लोगों की मौत हो गई। यह रिपोर्ट उन लोगों के लिए चिंताजनक है जिन्हें कोरोना पॉजिटिव हुए 18 महीने से कम समय हुआ है.

यूरोपियन सोसाइटी ऑफ कार्डियोलॉजी की एक पत्रिका, कार्डियोवास्कुलर रिसर्च में प्रकाशित लगभग 1लाख 60 हजार प्रतिभागियों के अध्ययन के अनुसार कोविड रोगियों में असंक्रमित प्रतिभागियों की तुलना में हृदय संबंधी विकार विकसित होने की संभावना अधिक है। इस वजह से उनमें मौत का खतरा बढ़ जाता है। हांग विश्वविद्यालय के प्रोफेसर इयान सीके वोंग ने कहा, ‘निष्कर्ष बताते हैं कि गंभीर बीमारी से उबरने के बाद कम से कम एक साल तक कोविड-19 वाले रोगियों की निगरानी की जानी चाहिए’.

तीन हफ्ते तक 81 गुना अधिक खतरा

असंक्रमित व्यक्तियों की तुलना में संक्रमित व्यक्तियों में संक्रमण के पहले तीन हफ्तों में कोविड-19 रोगियों के मरने की संभावना 81 गुना अधिक और 18 महीने बाद तक पांच गुना अधिक है। अध्ययन के अनुसार गंभीर कोविड-19 वाले मरीजों में प्रमुख हृदय रोग विकसित होने या गैर-गंभीर मामलों की तुलना में मरने की संभावना अधिक है। प्रोफेसर वोंग ने कहा, ‘यह अध्ययन महामारी की पहली लहर के दौरान किया गया था’.

दिल को बीमार कर गया Covid-19

कोविड -19 रोगियों में मायोकार्डियल इन्फ्रक्शन, कोरोनरी हृदय रोग, हार्ट फेलियर सहित छोटी और लंबी अवधि दोनों में असंक्रमित प्रतिभागियों की तुलना में हृदय संबंधी विकारों की अधिक संभावना है। हाल ही में हार्ट अटैक से मरने वालों की संख्या में तेजी से इजाफा हुआ है। एक्सपर्ट इसके पीछे लोगों के बदले हुए लाइफस्टाइल और कोरोना संक्रमण को प्रमुख वजह बता रहे हैं। कोरोना वायरस फेफड़ों पर हमला करता है लेकिन इसका असर दिल पर भी पड़ता है। कम ऑक्सीजन मिलने से दिल की पंपिंग कैपेसिटी भी कम हो जाती है.

इसे भी पढ़े: कैसे डेंगू फैलाने वाले मच्छर कीटनाशकों के प्रतिरोधी बनने के लिए विकसित होते हैं, जानें पूरी जानकारी

Exit mobile version