Coromandel Train Accident Update: रेल मंत्री ने लिया घटनास्थल का जायजा, हादसे के पीछे की ये बताई वजह

Coromandel Train Accident Update: बालासोर ट्रेन हादसे में 288 लोगों की मौत और रेस्क्यू ऑपरेशन पूरा होने के बाद पटरियां दुरुस्त करने का काम जोरों पर चल रहा है. अब तक हावड़ा-चेन्नई रूट की 90 ट्रेनें रद्द कर दी गई हैं वहीं 46 का रूट बदला गया है. आधिकारिक जानकारी के मुताबिक, सोमवार (5 जून) तक ट्रैक दुरुस्त होने की उम्मीद है. वहीं, आज (4 जून) रेल मंत्री अश्वनि वैष्णव ने ओडिसा जाकर घटना स्थल का जायजा लिया और चल रहे मरम्मत कार्य का निरिक्षण किया.
रेल मंत्री ने बताया कि मरम्मत का काम तेजी से किया जा रहा है और एक ट्रैक का काम लगभग पूरा हो गया है. वहीं दूसरे ट्रैक को आज पूरी तरह से दुरुस्त कर दिया जाएगा. उन्होंने उम्मीद जताई कि बुधवार सुबह तक रूट को सामान्य रुप से शुरू कर दिया जाएगा.
ये बताई हादसे की वजह
वहीं हादसे के कारणों पर बात करते हुए रेल मंत्री ने कहा कि रेलवे सुरक्षा आयुक्त की जांच में सामने आया है कि ये हादसा इलेक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग में बदलाव के कारण हुआ है. सभी जिम्मेदार लोगों की पहचान हो गई है और उन पर कड़ी से कड़ी कारवाई की जाएगी.
रेल मंत्रालय देगा इतना मुआवजा
वहीं रेल मंत्राय की ओर से मृतकों के परिजनों को मुआवजा राशि देने का एलान कर दिया गया है. इस हादसे में मारे गए लोगों के परिजनों को 10-10 लाख रुपये की आर्थिक सहायता राशि दी जाएगी. इस हादसे में गंभीर रूप से घायल लोगों को दो-दो लाख रुपये की अनुग्रह राशि दी जाएगी. रेल मंत्री, अश्विनी वैष्णव ने इस हादसे को दुर्भाग्यपूर्ण बताया ही साथ ही उन्होंने कहा कि, “इस हादसे में जान गंवाने वालों के परिजनों को 10-10 लाख रुपये, गंभीर रूप से घायलों के लिए दो लाख रुपये, मामूली रूप से चोटिलों के लिए 50,000 रुपये की सहायता राशि प्रदान की जाएगी.
Coromandel Train Accident में हुई 288 लोगों की मौत
ओडिशा के बालासोर में हुए रेल हादसे में मृतकों की संख्या बढ़कर 288 हो गई है. वहीं, ओडिशा के स्वास्थ्य विभाग ने जानकारी दी है कि अब तक 1175 मरीजों को निजी अस्पतालों में भर्ती कराया गया था, जिनमें से 793 मरीजों को छुट्टी दे दी गई है. 382 मरीज अस्पताल में भर्ती हैं जिनमें से 2 की हालत गंभीर है. अन्य सभी की हालत स्थिर है. दोनों एक्सप्रेस रेल गाड़ियों में आरक्षित टिकट वाले 2,200 से अधिक यात्री सवार थे.
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