Maharashtra में मुख्यमंत्री पद की दौड़, महायुति और महाविकास अघाड़ी में टकराव
Maharashtra विधानसभा चुनावों के नतीजों का ऐलान 23 नवंबर को होगा, लेकिन उससे पहले सत्तारूढ़ महायुति और विपक्षी महाविकास अघाड़ी (MVA) के बीच मुख्यमंत्री पद को लेकर जोरदार बयानबाजी हो रही है। दोनों गठबंधनों के नेता दावा कर रहे हैं कि अगली सरकार उन्हीं की बनेगी।
महाविकास अघाड़ी में मुख्यमंत्री पद पर खींचतान
महाविकास अघाड़ी में कांग्रेस, शिवसेना (उद्धव ठाकरे) और एनसीपी (शरद पवार) शामिल हैं। कांग्रेस नेता नाना पटोले ने दावा किया कि अगर महाविकास अघाड़ी को बहुमत मिलता है, तो कांग्रेस के नेतृत्व में सरकार बनेगी। हालांकि, शिवसेना (उद्धव ठाकरे) के संजय राउत ने इसे खारिज करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री पद पर फैसला चुनाव के बाद सभी सहयोगी पार्टियां मिलकर करेंगी।
एनसीपी नेता अमोल मिटकरी ने मुख्यमंत्री पद के लिए अजीत पवार का समर्थन किया और कहा कि एनसीपी किंगमेकर की भूमिका में रहेगी।
महायुति में मुख्यमंत्री पद के दावेदार
महायुति में बीजेपी, शिवसेना (एकनाथ शिंदे) और एनसीपी (अजित पवार) शामिल हैं। शिवसेना विधायक संजय शिरसाट ने कहा कि यह चुनाव एकनाथ शिंदे के चेहरे पर लड़ा गया है और जनता ने उन्हें ही अपनी पसंद बताया है। बीजेपी नेता प्रवीण दरेकर ने डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस को मुख्यमंत्री पद का दावेदार बताया।
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एग्जिट पोल और जनादेश का अनुमान
अधिकतर एग्जिट पोल महायुति की सत्ता में वापसी का संकेत दे रहे हैं। बीजेपी नेता दरेकर ने महाविकास अघाड़ी की वापसी की संभावनाओं को खारिज करते हुए कहा कि विपक्षी गठबंधन अंदरूनी कलह से जूझ रहा है और जनता ने स्पष्ट जनादेश महायुति के पक्ष में दिया है।
मुख्यमंत्री पद की लड़ाई का असर
यह चुनाव न केवल सत्ता में आने की होड़ है, बल्कि महाराष्ट्र के राजनीतिक समीकरणों को भी तय करेगा। महायुति और महाविकास अघाड़ी दोनों ही अपनी रणनीतियों और समर्थन के साथ मुख्यमंत्री पद के लिए दावा पेश कर रहे हैं। जनता का जनादेश 23 नवंबर को स्पष्ट होगा, जिससे यह तय होगा कि महाराष्ट्र का अगला नेतृत्व किसके हाथों में होगा।