Sambhal: शाही जामा मस्जिद सर्वे पर हिंसा, 1 की मौत, 7 वाहन फूंके, इलाके में तनाव जारी
उत्तर प्रदेश के Sambhal में शाही जामा मस्जिद के सर्वे को लेकर रविवार को तनावपूर्ण माहौल बन गया। इस दौरान हुए विवाद में हिंसा भड़क उठी। आइए सरल भाषा में समझते हैं इस पूरी घटना को।
मस्जिद सर्वे के दौरान क्या हुआ?
शाही जामा मस्जिद में कोर्ट के आदेश पर सर्वे किया जा रहा था। यह सर्वे हिंदू पक्ष के उस दावे के आधार पर किया गया जिसमें कहा गया था कि मस्जिद एक प्राचीन हरिहर मंदिर के ऊपर बनी है।
सर्वे टीम मस्जिद के अंदर काम कर रही थी, लेकिन इसी दौरान मस्जिद के बाहर भीड़ जमा हो गई। माहौल बिगड़ने लगा और कुछ लोगों ने पुलिस पर पत्थरबाजी शुरू कर दी। इसके बाद स्थिति और गंभीर हो गई:
चार मोटरसाइकिल और तीन कारों को आग के हवाले कर दिया गया।
पुलिस को भीड़ को खदेड़ने के लिए लाठीचार्ज और आंसू गैस का इस्तेमाल करना पड़ा।
इस हिंसा में एक व्यक्ति की मौत हो गई और कई पुलिसकर्मी घायल हो गए।
पुलिस कार्रवाई और सुरक्षा के कदम
स्थिति को नियंत्रण में रखने के लिए प्रशासन ने भारी पुलिसबल तैनात कर दिया है।
अब तक 10 लोगों को हिरासत में लिया गया है।
इलाके में ड्रोन कैमरों के जरिए निगरानी की जा रही है।
संभल के एसपी कृष्ण कुमार विश्नोई ने कहा, "उपद्रवियों को किसी भी हालत में बख्शा नहीं जाएगा। उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।"
सर्वे का इतिहास और पृष्ठभूमि
यह सर्वे कोर्ट के आदेश पर कराया गया। हिंदू पक्ष का दावा है कि शाही जामा मस्जिद एक प्राचीन हरिहर मंदिर पर बनी है।
मस्जिद कमेटी और हिंदू पक्ष दोनों ने सर्वे पर सहमति जताई थी।
सर्वे में मस्जिद की फोटोग्राफी और वीडियोग्राफी की गई।
सर्वे की रिपोर्ट 29 नवंबर को कोर्ट में पेश की जाएगी।
घटना पर प्रतिक्रियाएं
मुस्लिम समुदाय के नेता
ऑल इंडिया मुस्लिम जमात के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना शहाबुद्दीन रजवी ने हिंसा की निंदा करते हुए कहा, "यह ऐतिहासिक मस्जिद है। हम कानून और पुख्ता सबूतों के जरिए इस मामले को लड़ेंगे।"
हिंदू पक्ष के वकील
हिंदू पक्ष के वकील विष्णु शंकर जैन ने कहा, "सर्वे सफलतापूर्वक संपन्न हो चुका है। रिपोर्ट कोर्ट में पेश की जाएगी।"
वर्तमान स्थित
हिंसा के बाद से क्षेत्र में तनावपूर्ण माहौल बना हुआ है। प्रशासन ने लोगों से अमन-चैन बनाए रखने और अफवाहों से बचने की अपील की है। पुलिस अन्य उपद्रवियों की पहचान कर रही है।