उत्तराखंड: लगातार वनाग्नि से जल रहे जंगल, एयरफोर्स की प्रशासन ने ली सहायता

 
उत्तराखंड: लगातार वनाग्नि से जल रहे जंगल, एयरफोर्स की प्रशासन ने ली सहायता

उत्तराखंड में दिन प्रतिदिन वनाग्नि की छिटपुट घटनाओं से ख़ाक हो रहे जंगलों पर अब प्रशासन भी एक्टिव मोड में आ चुका है. उत्तराखंड के जंगलों में भीषण रूप ले चुकी आग को नियंत्रित करने के लिए एयर फोर्स के हेलीकॉप्टरों ने मोर्चा अब संभाल लिया है. मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत के अनुरोध पर केंद्र सरकार ने एमआई-17 हेलीकॉप्टर उपलब्ध कराए हैं.

सोमवार को दिन भर चले एयर ऑपरेशन में नरेंद्र नगर वन रेंज के जंगलों में भड़की आग को बुझाया गया. जानकारी के मुताबिक एयर ऑपरेशन अगले कुछ और दिन जारी रहेगा. कुमाऊं मंडल में भड़की वनाग्नि भी हेलीकॉप्टर की मदद से बुझाई जाएगी जबकि दूसरा हेलीकॉप्टर भी हल्द्वानी पहुंच चुका है.

WhatsApp Group Join Now

गौरतलब है कि रविवार को मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से फोन पर बात कर उत्तराखंड के जंगलों में लगी आग को बुझाने के लिए हेलीकाप्टर दिए जाने का अनुरोध किया था.

https://twitter.com/ANI/status/1378964186374414338?s=20

20 हजार लीटर पानी का छिड़काव किया

प्रभागीय वनाधिकारी कार्यालय, नरेंद्रनगर वन प्रभाग, मुनिकीरेती की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार वायु सेना के एमआइ 17 हेलीकाप्टर के माध्यम से जंगलों में आग को बुझाने की कवायद प्रारंभ की गई. जिसके प्रारंभिक चरण में गढ़वाल में कल टिहरी जनपद अंतर्गत नरेंद्रनगर वन प्रभाग की नरेंद्रनगर रेंज में अदवाणी क सं-04 एवं तमियार (फकोट ब्लॉक, टिहरी) में वनाग्नि को बुझाने का कार्य किया गया. सुबह 8: 30 बजे हेलीकॉप्टर देहरादून एयरपोर्ट पर उतरा.

प्रारंभिक तैयारियों के पूर्ण होने के उपरांत प्रातः 10 बजे एयर ऑपरेशन प्रारंभ किया गया, जिसमें प्रारंभिक रैकी कार्य प्रभावित क्षेत्रों के ऊपर दो बार किया गया. इसके बाद कोटी कॉलोनी, टिहरी झील से 5000 लीटर की बकेट में पानी भरकर आग से प्रभावित जंगलों में पानी का चार सोर्टियों के माध्यम से दो बार 10,000 लीटर पानी का छिड़काव कर जंगल की आग को नियंत्रित किया गया.

एयर ऑपरेशन दोपहर 12: 40 बजे तक जारी रहा. इसके बाद में प्रतिकूल मौसम के कारण ऑपरेशन को रोकना पड़ा. इस संपूर्ण ऑपरेशन में वायु सेना के साथ ही उत्तराखंड सरकार के विभिन्न महकमों यथा-वन विभाग, सिविल एविएशेन विभाग, जिला प्रशासन, एवं स्थानीय स्टाफों की ओर से सहयोग प्रदान किया गया. वन मंत्री डॉ. हरक सिंह रावत ने कहा कि जंगल की आग को रोकने के लिए वन विभाग तत्पर है. विभाग के अधिकारियों और कर्मचरियों की छुट्टियों पर रोक लगा दी गई है. स्थानीय लोगों का भी सहयोग लिया जा रहा है.

अब तक 1400 हेक्टेयर जंगल खाक

प्रदेश के जंगलों में इस बार सर्दियों में ही आग लगनी शुरू हो गई थी. एक अक्तूबर से लेकर पांच अप्रैल तक करीब 1400 हेक्टेयर जंगल आग के हवाले हो चुका है. जंगल की आग के मामले भी 1100 से अधिक हो चुके हैं.

ये भी पढ़ें: उत्तरकाशी के इस गांव में सड़क न होने कारण, बुज़ुर्गों को 8 किमी पैदल चलकर लगवाना पड़ रहा वैक्सीन

Tags

Share this story