घूसकांड: कौन हैं महुआ मोइत्रा? जानिए क्या है TMC सांसद से जुड़ा विवाद

Mahua Moitra:भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने महुआ मोइत्रा पर पैसे और गिफ्ट के बदले उद्योगपति दर्शन हीरानंदानी के हितों से जुड़े सवाल संसद में पूछने का आरोप लगाया था। उन्होंने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर आरोप लगाया था कि महुआ ने अब तक सदन में 61 सवाल पूछे हैं, जिसमें से 50 उद्योगपति के कारोबार से जुड़ा था। दर्शन हीरानंदानी ने भी हलफनामा प्रस्तुत कर अपने लाभ के लिए महुआ मोइत्रा को रिश्वत देने की बात स्वीकार की है। इसके बाद संसद की एथिक्स कमेटी (लोकसभा आचार समिति) ने आईटी मंत्रालय और गृह मंत्रालय से टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा के संसदीय लॉग इन और लोकेशन की जानकारी मांगी है। एथिक्स कमेटी ने नवंबर में रिपोर्ट देने का निर्देश दिया है। बता दें कि पैसे लेकर सवाल पूछने के मामले में टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा की मुश्किलें लगातार बढ़ती जा रही हैं। आइए जानते हैं पूरा विवाद...
एथिक्स कमेटी का क्या रोल है ?
एथिक्स कमेटी महुआ मोइत्रा को समन देकर पेश होने को कह सकती है। उनसे पूछताछ कर सकती है। आरोप लगाने वाले सांसद निशिकांत दुबे से सबूत मांग सकती है। अगर मोइत्रा दोषी साबित होती हैं तो उनकी सदस्यता भी जा सकती है।लोकसभा की एथिक्स कमेटी ने काम शुरू कर दिया है। बुधवार को भाजपा सांसद निशिकांत दुबे और वकील जय अनंत देहाद्राई को मौखिक सबूत देने के लिए गुरुवार 26 अक्टूबर को पेश होने के लिए कहा गया है।
अब समझिए पूरा मामला ?
भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने महुआ मोइत्रा पर आरोप लगाया था कि टीएमसी सांसद ने हीरानंदानी ग्रुप के सीईओ दर्शन हीरानंदानी से रिश्वत लेकर संसद में सवाल पूछे। भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने ये आरोप सुप्रीम कोर्ट के वकील जय अनंत देहाद्राई की शिकायत के आधार पर लगाए हैं। निशिकांत दुबे की शिकायत के बाद लोकसभा स्पीकर ने पैसे लेकर संसद मेंच लक्षित सवाल पूछने के इस मामले को संसद की एथिक्स कमेटी के पास भेज दिया। गुरुवार को भाजपा सांसद दुबे और वकील जय अनंत देहाद्राई एथिक्स कमेटी के सामने पेश हुए और अपना पक्ष रखा। अब जल्द ही टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा भी एथिक्स कमेटी के सामने पेश हो सकती हैं
महुआ मोइत्रा कौन हैं ?
महुआ मोइत्रा पश्चिम बंगाल राज्य में नादिया जिले में करीमपुर (विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र) का प्रतिनिधित्व करती है। महुआ का शुरुआती जीवन असम और कोलकाता में बीता लेकिन 15 साल की उम्र में वह अपने परिवार के साथ अमेरिका शिफ्ट हो गईं इसके बाद अर्थशास्त्र की पढ़ाई की और न्यूयॉर्क में बैंकर की नौकरी शुरू कर दी | उन्होंने न्यूयॉर्क और लंदन में जेपी मॉर्गन चेज के लिए एक निवेश बैंकर के रूप में काम किया। कुछ सालों में उनका नौकरी से मोह भंग हुआ और वे राजनीति में कूदीं।
राजनितिक करियर
भारतीय राजनीति में प्रवेश करने के लिए 2009 में लंदन में जेपी मॉर्गन चेज में उपाध्यक्ष का अपना पद छोड़ दिया. इसके बाद, वह भारतीय युवा कांग्रेस में शामिल हो गईं, जहां वह "आम आदमी का सिपाही" परियोजना में राहुल गांधी की भरोसेमंदों में से एक थीं। 2010 में, वह तृणमूल कांग्रेस पार्टी में चली गईं. वह 2016 में हुए विधान सभा चुनावों में पश्चिम बंगाल के नदिया जिले के करीमपुर निर्वाचन क्षेत्र से चुनी गईं। 2019 आम चुनावों में वह कृष्णानगर से 17वीं लोकसभा के लिए संसद सदस्य के रूप में चुनी गई. 13 नवंबर 2021 को, उन्हें 2022 गोवा विधानसभा चुनाव के लिए टीएमसी पार्टी के गोवा प्रभारी के रूप में नियुक्त किया गया।
महुआ मोइत्रा ने क्या कहा?
महुआ मोइत्रा ने कहा मैं 4 नवंबर को अपने पूर्व-निर्धारित निर्वाचन क्षेत्र के कार्यक्रमों के समाप्त होने के तुरंत बाद (संसद की आचार समिति के समक्ष) पेश होने के लिए उत्सुक हूं।' उन्होंने इसके पीछे भाजपा सांसद रमेश बिधूड़ी का हवाला दिया, जिन्हें चुनाव प्रचार में व्यस्त होने की वजह से पेश होने के लिए और समय दिया गया था।
भाजपा बोली TMC साफ करे, महुआ के साथ हैं या नहीं
तृणमूल पार्टी के ऐसे बयान को लेकर भाजपा नेता राहुल सिन्हा ने कहा कि पश्चिम बंगाल की सत्ताधारी पार्टी TMC ऐसे अपनी जिम्मेदारी से पल्ला नहीं झाड़ सकती है। उन्होंने कहा कि जब भी TMC नेता गिरफ्तार होते हैं या किसी विवाद में घिरते हैं तो पार्टी अपनी जिम्मेदारी से मुंह मोड़ लेती है। पार्टी को ये बताना होगा कि वह महुआ मोइत्रा को सपोर्ट करती है या नहीं।
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