Afghanistan में मचा बवाल, लोग पूछ रहे सवाल, क्या करनी चाहिए Taliban से बात?
उत्तर प्रदेश: बीते कई महीनों से अफगानिस्तान (Afghanistan) में खूनी संघर्ष चलने के बाद अब तालिबान का शासन हो गया है. जिसके कारण लोगों में काफी डर का माहौल पैदा हो गया है. अफगानिस्तान में तालिबान (Taliban) का राज कैसा होगा, अस्थिरता कब खत्म होगी और कब अमन-चैन से लोग रहेंगे, इसे लेकर कुछ कहा नहीं जा सकता है. मगर तालिबान का अफगानिस्तान पर कब्जा दुनियाभर के लिए एक बड़ी चर्चा का विषय बना चुका है.
भारत में इस पूरे मामले पर नागरिकों ने अपनी राय सोशल मीडिया Koo (कू) के जरिए अपनी-अपनी भाषाओं में ज़ोर शोर से दे रहे है. जिसके चलते Koo पर #WhytalktoTaliban हैश टैग ट्रेंड हो रहा है. क्योकि मामला काफ़ी संगीन है तो सोशल मीडिया पर दोनों तरफ की बातें सुनने को मिल रही हैं.
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एक तरफ लोग सरकार अपील कर रहे हैं की इस पूरे मामले में एक बार तालीबान से बात करनी चाहिए वहीं दूसरी ओर लोग तालिबान की इस गलत हरकत से काफी गुस्से में हैं. इसके अलावा कुछ लोग ऐसे भी है जो इस पूरे मामले में अफगानी लोगों के बारे में सोच रहे है जिन्होंने घर वालों को खो दिया या फिर जो लोग यहां पर फंस चुके हैं. इसलिए ये लोग सभी देशों की सरकारों से अपील कर रहे हैं उन्हें जल्द से जल्द वहां से निकला जाए.
ट्वीटर पर चल रहा विश्व मानवतावादी दिवस अभियान
वहीं आज विश्व मानवतावादी दिवस है. इसलिए लोग सोशल मीडिया पर #विश्वमानवतावादीदिवस हैशटैग का उपयोग कर इस अभियान में शामिल हो रहे हैं. इसके साथ पुरज़ोर रूप से अफ़ग़ान- तालिबान मामले पर मानवता को लेकर अपनी राय भी दे रहे हैं.
उत्तर प्रदेश में तैनात हुई ATS
उत्तर प्रदेश में योगी सरकार ने सहारनपुर के देवबंद में ATS कमांडों सेंटर बनाने का फैसला किया है. सरकार ने प्राथमिकता के आधार पर ATS को 2000 वर्गमीटर जमीन मुहैया करा दी है. अफगानिस्तान के ताजा हालात को देखते हुए योगी आदित्यानाथ का यह फैसला जबरदस्त माना जा रहा है.
देवबंद में ATS सेंटर बनने का काम तेजी से शुरू हो गया है. योगी के मीडिया सलाहकार शलभ मणि त्रिपाठी ने इस सेंटर पर प्रदेश के चुने हुए डेढ़ दर्जन AST अफसरों की तैनाती की जाएगी. शलभमणि त्रिपाठी बताया है कि तालिबान की बर्बरता के बीच योगी जी ने तत्काल प्रभाव से देवबंद में ATS कमांडो सेंटर खोलने का निर्णय लिया है. युद्धस्तर पर काम भी शुरू हो गया है, प्रदेश भर से चुने हुए करीब डेढ़ दर्जन तेज तर्रार ATS अफसरों की यहां तैनाती की जाएगी.
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