Emergency: किस घटना के तुरंत बाद देश में आपातकाल लगा?
जगमोहन लाल सिन्हा, इलाहाबाद हाईकोर्ट में जज हुआ करते थे। कहानी 1971 के चुनाव का, जब रायबरेली की सीट पर समाजवादी नेता राजनारायण को इंदिरा गांधी ने आसानी से हरा दिया था। फिर राजनारायण ने अदालत में चुनाव के घपलेबाजी पर याचिका दायर कर दी थी।
क्या इलाहाबाद हाईकोर्ट इंदिरा गांधी को चुनावों में गलत तरीके अख्तियार करने का दोषी ठहरायेगा? नतीजा चौकाने वाला था। राज नारायण की शिकायत तो शुन्य निकली लेकिन इंदिरा जी के चुनाव प्रचार करने वालों में से एक यशपाल कपूर को सरकारी नौकरी में रहते हुए भी चुनाव प्रचार में हिस्सा लेने का दोषी पाया गया।
इससे साबित हो चुका था कि UP के सरकारी कर्मचारियों ने इंदिरा गांधी की चुनावी बैठकों के वक्त मंच तैयार करने में मदद की थी। इसी गवाही को मद्दे नजर रखते हुए इलाहाबाद हाईकोर्ट के जस्टिस जगमोहन लाल सिन्हा ने चुनाव नतीजे को खारिज कर दिया। इस घटना के बाद देश में आपातकाल लगा यह सब जानते हैं।
फिर आजादी के महज 28 साल बाद ही देश को तत्कालिन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के फैसले के कारण आपातकाल के दंश से गुजरना पड़ा। 25-26 जून की रात को आपातकाल के आदेश पर राष्ट्रपति फखरुद्दीन अली अहमद के दस्तखत के साथ देश में आपातकाल लागू हो गया।
अगली सुबह समूचे देश ने ऑल इंडिया रेडियो पर इंदिरा गांधी की आवाज में संदेश सुना कि भाइयों और बहनों, राष्ट्रपति जी ने आपातकाल की घोषणा की है। लेकिन इससे आम जनमानस को डरने की जरूरत नहीं है।