Chandra Grahan 2021: चंद्रग्रहण के दौरान सतर्क रहें गर्भवती महिलाएं, वरना चुकानी पड़ सकती है भारी कीमत
नई दिल्लीः ज्योतिषीय विज्ञान के अनुसार चंद्र ग्रहण ऐसी घटना है, जिसका असर प्रत्येक मनुष्य के जीवन पर होता है। लेकिन चंद्र के समय गर्भवती महिलाओं को खासतौर पर सतर्कता बरतनी चाहिए, क्योंकि ग्रहण का असर उनके साथ-साथ उनकी कोक में पल रहे शिशु पर पड़ सकता है, जिसकी वजह से उन्हें कई प्रकार की कठिनाइयों का सामना करना पड़ सकता हैं।
हम आपको बता दें इस बार चंद्र ग्रहण (Chandra Grahan 2021) 19 नवंबर को होगा। इस दिन कोई भी शुभ कार्य नहीं करना चाहिए। साथ ही मन में ही ईष्ट देव की आराधना करनी चाहिए। ग्रहण 19 नवंबर की सुबह 11 बजकर 34 मिनट पर शुरू होगा और शाम 05 बजकर 33 मिनट पर पूरा होगा। यह चंद्र ग्रहण भारत में उपछाया के रूप में दिखेगा तो सूतक काल नहीं होगा। ज्योतिषियों का मानना है कि गर्भवती महिलाओं को ग्रहण के समय में कुछ नियमों का पालन करना चाहिए, जिससे गर्भ में पल रहे शिशु के स्वस्थ को किसी भी प्रकार की हानि न पहुंचे।
तो आइए आज बात करते है कुछ ऐसे ही नियमों की जिनका पालन गर्भवती महिलाओं को ग्रहण काल में करना आवश्यक है।
- मान्यता है कि ग्रहण के दौरान चांद का गुरुत्वाकर्षण बहुत अधिक रहता है, ऐसे में गर्भवती महिलाओं को ग्रहण नहीं देखना चाहिए।
- ग्रहण में चंद्रमा को बिल्कुल न देखें। क्योंकि इससे कोक में पल रहे बच्चे पर बुरा प्रभाव पड़ता है।
- गर्भवती महिलाएं को नोकदार चीजें जैसे चाकू, सुई, कैंची, आदि का उपयोग बिल्कुल नहीं करना चाहिए।
- ग्रहण के दौरान कुछ भी न खाए।
- साथ ही मुंह में तुलसी रखकर हनुमान चालीसा का पाठ करना शुभ माना जाता है।
- ग्रहण समाप्त होने पर जल से स्नान करें।
साथ ही आपको बता दें, ग्रहण के समय महिलाओं के शरीर में हार्मोनल बदलाव आते हैं। ऐसे में उन्हें बेचैनी, पसीना और कमजोरी हो सकती हैं। ग्रहण काल में गर्भवती महिलाएं एक नारियल अपने पास रखें। इससे ग्रहण का बुरा असर नहीं पड़ता। साथ ही ग्रहण काल में जप, ध्यानादि करती रहें।
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