Garud puran ke niyam: मरे हुए व्यक्ति के कपड़े पहनने से होता है ये नुकसान, जानें क्या कहता है गरुड़ पुराण
Garud puran ke niyam: हिंदू धर्म में गरुड़ पुराण को भगवान विष्णु के प्रमुख शास्त्र के तौर पर जाना जाता है. गरुण पुराण में व्यक्ति के जन्म और मरण के दौरान कर्मों को लेकर कई सारी बातें बताई गई हैं.
जिनका पालन करने मात्र से व्यक्ति अपने जीवन को सफल बना सकता है. गरुड़ पुराण भगवान विष्णु और उनके वाहन गरुड़ के बीच हुई वार्तालाप का एकमात्र स्रोत है, जिसका विशेष धार्मिक महत्व मौजूद है.
ऐसे में हमारे आज के इस लेख में हम आपको मृत व्यक्ति के संबंध में गरुड़ पुराण में लिखें नियमों के बारे में जानकारी देंगे. आपने अक्सर देखा होगा कि जब भी किसी के परिवार से किसी व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है,
तो उसके परिवार वाले याद के तौर पर उसके कपड़ों को संभाल कर रख लेते हैं. उसके बाद कई बार मौका पड़ने पर वह उन कपड़ों को धारण भी कर लेते हैं.
लेकिन गरुड़ पुराण में मृत व्यक्ति के कपड़े को पहनने पर आपत्ति जताई गई है. जिसके बारे में आगे ही बात करेंगे. तो चलिए जानते हैं….
गरुड़ पुराण के नियमों के बारे में….
गरुण पुराण की मानें तो अगर आप अपने परिवार में से किसी मृत व्यक्ति के कपड़ों को अपने घर में रखते हैं, तो इससे मृत व्यक्ति की आत्मा अपने कपड़ों और आपके प्रति अपने मोह का त्याग नहीं कर पाती और उसकी आत्मा को शांति नहीं मिलती है.
इतना ही नहीं यदि आप किसी मृत व्यक्ति के कपड़ों को उसकी याद के तौर पर घर में रख लेते हैं, तो इससे मृत व्यक्ति की आत्मा कभी शांत नहीं होने पाती और उसका सदैव अपनी चीजों से जुड़ा बना रहता है. इसलिए गरुड़ पुराण की मानें तो मृत व्यक्ति की सभी चीजों को दान कर देना चाहिए.
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ना केवल धार्मिक बल्कि वैज्ञानिक दृष्टिकोण से भी मृत व्यक्ति के कपड़ों को पहनने की अनुमति नहीं है. ऐसा करने से व्यक्ति को मानसिक और अनेक प्रकार के शारीरिक कष्टों का सामना करना पड़ सकता है.