Shanidev: क्या होती है शनि की साढ़ेसाती? जिसका पड़ता है आपके जीवन पर बुरा प्रभाव…जानिए
Shanidev: अक्सर हमने लोगों को ये कहते सुना है कि उसके ऊपर शनि की साढ़े साती चल रही है. यानि शनि देव जिन्हें न्याय का देवता कहा जाता है, उनकी कुदृष्टि उनपर चल रही है.
ऐसे में व्यक्ति के जीवन में उसे काफी सारी समस्याओं का सामना करना पड़ता है. साथ ही लाख कोशिशों के बावजूद उसके कार्य अधूरे रहते हैं.
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ऐसे में यदि आपके ऊपर भी शनि की साढ़ेसाती चल रही है या कुंडली में शनि का प्रकोप मौजूद है. तो आपको ये जरूर जानना चाहिए कि आपके ऊपर यदि शनि की साढ़ेसाती चल रही है,
तो आपको इसके बारे में कैसे मालूम पड़ेगा? और शनि की साढ़ेसाती कैसे आपकी कुंडली में मौजूद है, ये आपको अवश्य जानना चाहिए.
शनि की साढ़े साती क्या होती है?
शनि की साढ़ेसाती के बारे में आपको तब मालूम पड़ता है. जब आपकी कुंडली में चंद्र राशि से 12वें स्थान पर शनि मौजूद होता है. इसी कारण आपके ऊपर शनि की साढ़े साती चलती है.
जोकि लगभग 7 या साढ़े सात साल तक चलती है. इसके अलावा, जब चंद्रमा आपकी कुंडली के चतुर्थ और अष्टम भाव में गोचर करता है, तब शनि की छोटी साढ़े साती चलती है.
साधारण शब्दों में, समझें तो यदि आपकी जन्म कुंडली के बारहवें, पहले, दूसरे भाव में चंद्रमा गोचर करता है. तब उसे शनि की साढ़ेसाती कहते हैं. जिसका पहला चरण व्यक्ति के आर्थिक जीवन, दूसरा चरण पारिवारिक माहौल और तीसरा चरण स्वास्थ्य पर असर डालता है.
इस तरह से शनि की साढ़े साती का पहला चरण धनु, वृष, सिंह जातकों पर प्रभाव डालता है. जबकि दूसरा चरण मकर, मेष, कर्क, वृश्चिक जातकों पर प्रभाव डालता है और तीसरे चरण का प्रभाव मिथुन, कर्क, तुला और मीन राशि को प्रभावित करता है.
शनि की साढ़ेसाती से बचने के उपाय?
हर शनिवार को लगभग 11 मंदिरों में छाया दान करें.
शनिवार के दिन तेल और शनि भगवान को प्रिय चीजों का दान जरूर करें.
अंधे और बेसहारा लोगों को दान पुण्य करें.
शनिवार के दिन पीपल के पेड़ पर दीपक जलाएं.
आप कौवे, गाय और कुत्ते को रोटी खिलाकर भी शनि की साढ़ेसाती से मुक्ति पा सकते हैं.