Queen Elizabeth II के अंतिम संस्कार की प्रक्रिया शुरू,125 सिनेमाघरों में हो रहा लाइव प्रसारण
ब्रिटेन की Queen Elizabeth II के अंतिम संस्कार की प्रक्रिया शुरू हो गई।महारानी के अंतिम संस्कार का 125 सिनेमाहॉलों में लाइव प्रसारण भी किया जा रहा है। महारानी को राजकीय सम्मान के साथ किंग जॉर्ज VI मेमोरियल चैपल में उनके दिवंगत पति प्रिंस फिलिप के बराबर में दफनाया जाएगा।बता दें कि महारानी को अंतिम श्रद्धांजलि देने के लिए दुनियाभर से 2000 दिग्गज नेता आए हैं और इस दुखद घड़ी में भारत की तरफ से राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू भी पहुंची हैं।
महारानी को पति प्रिंस फिलिप की कब्र के साथ दफनाया जाएगा
महारानी के शव को उनके दिवंगत पति प्रिंस फिलिप की कब्र के साथ दफनाया जाएगा जिनका पिछले साल निधन हो गया था।इससे पहले महारानी के ताबूत को घोड़ों वाली तोपगाड़ी से निकाला गया और फिर राजकीय शववाहन से विंडसर पैलेस तक ले जाया गया जहां उनके शरीर को दफनाया जाएगा।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने दी Queen Elizabeth II को श्रद्धांजलि
भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने दिवंगत महारानी के अंतिम दर्शन किए और भारत की ओर से उन्हें श्रद्धांजलि दी। उन्होंने एलिजाबेथ द्वितीय की शोक पुस्तिका में भी संदेश भी लिखा।
125 सिनेमाघर इस कार्यक्रम को कर रहे प्रदशित
महारानी के अंतिम संस्कार का लाइव टेलिकॉस्ट ब्रिटेन की लगभग सभी मीडिया प्लेटफॉर्म पर हो रहा है। यह डेली मेल, द टेलीग्राफ और स्काई न्यूज पर भी लाइव है। इसके अलावा, एनबीसी, सीएनएन और एबीसी न्यूज चैनल पर भी इसका लाइव टेलिकॉस्ट किया जा रहा है। बीबीसी आईप्लेयर पर भी लाइव स्ट्रीम किया जाएगा। इसके अलावा भी कई सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर इसका लाइवस्ट्रीम किया जाएगा। पूरे ब्रिटेन के सार्वजनिक पार्कों और जगहों पर बड़ी-बड़ी स्क्रीन लगाकर महारानी के अंतिम संस्कार को दिखाया जाएगा। अंतिम संस्कार को लंदन के हाइड पार्क के साथ-साथ शेफ़ील्ड, बर्मिंघम, कार्लिस्ले, एडिनबर्ग, कोलेराइन, बेडफोर्ड, ब्रैडफोर्ड, कोवेंट्री, एक्सेटर, लीड्स, मैनचेस्टर और न्यूकैसल के स्थानों में प्रदर्शित किया जा रहा है। पूरे यूके में लगभग 125 सिनेमाघर भी इस कार्यक्रम को प्रदर्शित कर रहे हैं।
Queen Elizabeth II के अंतिम दर्शन के लिए लगी लाइन
महारानी के अंतिम दर्शन के लिए आठ किलोमीटर की लंबी लाइन लगी है। इसमें प्रतिघंटा लगभग चार हजार लोग आखिरी दर्शन कर रहे हैं। फिलहाल महारानी का पार्थिव शरीर अभी पार्लियामेंट के वेस्टमिंस्टर हॉल में रखा हुआ है। शाम चार बजकर 25 मिनट पर फ्यूनरल सर्विस खत्म होने के बाद 4.45 में रानी का ताबूत लंदन के सड़कों पर निकलेगा।
शाही परिवार के रुतबे और असर को रखा बरकरार
क्वीन एलिजाबेथ 2 जून 1953 को ब्रिटेन की महारानी के पद पर आसीन हुईं थीं। जब एलिजाबेथ क्वीन बनीं तब दुनिया ही नहीं ब्रिटेन में भी राजशाही पर सवाल उठ रहे थे। लेकिन महारानी एलिजाबेथ ने तमाम विरोध के बावजूद शाही परिवार के रुतबे और असर को बरकरार रखा। दरअसल, क्वीन एलिजाबेथ के करीब 70 साल के कार्यकाल के दौरान ब्रिटेन ही नहीं बल्कि समूची दुनिया में भारी बदलाव हुए। इस दौरान ब्रिटेन ने सिर्फ आर्थिक चुनौतियों का ही नहीं बल्कि राजनीतिक संकटों का भी सामना किया। उतार.चढ़ाव के दौर में ब्रिटेन की महारानी अपने देश की जनता के लिए भरोसे का प्रतीक बनीं रहीं।
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