Janmashtami 2023: भगवान विष्णु को क्यों लेना पड़ा था कृष्ण अवतार? जान लें मुख्य कारण

 
Janmashtami 2023

Janmashtami 2023: आज संपूर्ण भारतवर्ष में जन्माष्टमी (Janmashtami) का पर्व बेहद हर्षोल्लास के साथ मनाया जा रहा है. जन्माष्टमी वाले दिन भगवान श्री कृष्ण ने जन्म लिया था. श्री कृष्ण जोकि भगवान विष्णु का आठवां अवतार कहे जाते हैं.

उन्होंने द्वापर युग में भगवान श्री कृष्ण (Shri krishna) के रूप में जन्म लिया था. भगवान श्री कृष्ण का जन्म माता देवकी और वासुदेव के पुत्र के तौर पर हुआ था. जिन्होंने मथुरा में अपने मामा कंस की जेल में जन्म लिया था. भगवान श्री कृष्ण का जन्म द्वापर युग में किस कारण हुआ था?

इसके बारे में अनेक पौराणिक कथाएं मौजूद है. ऐसे में हमारे आज के इस लेख में हम आपको जन्माष्टमी के अवसर पर यह बताने वाले हैं, कि फिर भगवान विष्णु ने द्वापर युग में श्री कृष्ण का अवतार क्यों लिया था, तो चलिए जानते हैं... 

भगवान विष्णु ने इस वजह से लिया था कृष्ण अवतार


हिंदुओं की प्रसिद्ध पुस्तक श्रीमद्भगवद्गीता में वर्णित है कि...

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यदा यदा ही धर्मस्य ग्लानिर्भवति भारत। अभ्युथानमधर्मस्य तदात्मानं सृजाम्यहम्।
परित्राणाय साधुनां विनाशाय च दुष्कृताम्। धर्मसंस्थापनार्थाय सम्भवामि युगे युगे।।


उपरोक्त श्लोक में श्री कृष्ण के जन्म का उद्देश्य बताया गया है. इसके अनुसार भगवान श्री कृष्ण का जन्म इस वजह से हुआ है कि जब धरती पर पाप बढ़ने लगेगा और धर्म का नाश हो जाएगा. धरती पर साधु-संतों का रहना मुश्किल हो जाएगा. उस दौरान भगवान विष्णु श्री कृष्ण अवतार लेंगे. भगवान श्री कृष्ण धरती पर अवतार लेकर धर्म की पुनर्स्थापना करेंगे.

रामचरितमानस के रचयिता तुलसीदास जी ने भी एक श्लोक के माध्यम से भगवान विष्णु के श्री कृष्ण अवतार की महिमा का बखान किया है....

जब जब होई धरम की हानि, बाढ़हिं असुर अधम अभिमानी, तब-तब प्रभु धरि विविध सरीरा, हरहिं कृपानिधि सज्जन पीरा।


उपरोक्त श्लोक के मुताबिक, जब धरती पर धर्म कमजोर पड़ने लगता है और राक्षस प्रवृत्ति के लोगों की संख्या में वृद्धि होने लगती है.

उस दौरान ईश्वर दिव्य शरीर में प्रवेश लेकर धरती के अच्छे और सज्जन लोगों की रक्षा करते हैं. भगवान श्रीकृष्ण ने भी असुरों को मारकर देवताओं का रक्षण किया था.

भगवान विष्णु ने श्री कृष्ण अवतार द्वापर युग में लिया था, क्योंकि द्वापर युग में क्षत्रियों को अपनी शक्ति का अभिमान होने लगा था और अनेक राक्षस और असुरों ने धरती पर आतंक मचा रखा था.

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, भगवान विष्णु कलियुग में भी कल्कि अवतार लेंगे. भगवान विष्णु का दसवां अवतार कहलाएगा. जिसके बाद कलियुग का अंत हो जाएगा.

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