अनंत अंबानी ने जियोमार्ट फ्रेश में लाइव चिकन बिक्री रोकी | जानवरों के अधिकार बनाम कॉर्पोरेट नैतिकता विवाद

मुंबई, भारत – रिलायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन मुकेश अंबानी के सबसे छोटे बेटे अनंत अंबानी ने हाल ही में रिलायंस रिटेल के जियोमार्ट फ्रेश आउटलेट्स पर लाइव चिकन की बिक्री बंद करने के फैसले से सुर्खियां बटोरी हैं। जानवरों के कल्याण को बढ़ावा देने के उद्देश्य से उठाया गया यह कदम प्रशंसा और आलोचना दोनों का विषय बना है, खासकर सोशल मीडिया व्यक्तित्व नेहा सिंह राठौर द्वारा एक वायरल व्यंग्यात्मक वीडियो में इस पहल का मजाक उड़ाए जाने के बाद।
जानवरों के कल्याण की पहल
अनंत, एक जाने-माने पशुप्रेमी और वंटारा पहल (घायल और लुप्तप्राय जानवरों के बचाव और पुनर्वास केंद्र) के संस्थापक, ने इस नीतिगत बदलाव को नैतिक प्रथाओं के प्रति अपनी प्रतिबद्धता का हिस्सा बताया। रिलायंस रिटेल ने इस फैसले की पुष्टि करते हुए कहा, "जियोमार्ट फ्रेश ने चुनिंदा शहरों में लाइव चिकन की बिक्री बंद कर दी है, जो गुणवत्ता और मानवीय प्रथाओं पर हमारे फोकस के अनुरूप है।" इस कदम को पशु अधिकार समूहों और अनंत के परोपकारी प्रयासों के समर्थकों ने सराहा है।
नेहा सिंह राठौर का व्यंग्य
हालांकि, इस फैसले पर कॉमेडियन और कंटेंट क्रिएटर नेहा सिंह राठौर ने तीखी प्रतिक्रिया दी। एक लोक गीत की तर्ज पर बनाए गए वायरल रील में राठौर ने व्यंग्य करते हुए गाया, "अनंत भैया ने मुर्गियों को बचा लिया, लेकिन जियोमार्ट फ्रेश अब भी आपकी प्लेट में परोसता है!" यह वीडियो, जियोमार्ट फ्रेश के पैकेज्ड चिकन उत्पादों का जिक्र करते हुए, पशु कल्याण को बढ़ावा देने के साथ ही मुर्गीपालन जारी रखने को लेकर पाखंड का इशारा करता है। राठौर की यह टिप्पणी सोशल मीडिया उपयोगकर्ताओं के बीच विवाद को फिर से भड़काने का कारण बनी।
जनता की प्रतिक्रिया विभाजित
इस विवाद पर प्रतिक्रियाएं दो ध्रुवों में बंटी हैं। जहां कई लोग अनंत की संवेदनशीलता की तारीफ कर रहे हैं, वहीं दूसरे लोग रिलायंस द्वारा पैकेज्ड चिकन बेचने को इस इशारे को कमजोर बताते हैं। एक उपयोगकर्ता ने टिप्पणी की, "चुनिंदा संवेदना कोई समाधान नहीं है," जबकि एक अन्य ने जवाब दिया, "जानवरों के दर्द को कम करने की दिशा में हर कदम मायने रखता है।"
यह बहस अनंत की राधिका मर्चेंट के साथ जुलाई में होने वाली शादी से ठीक पहले उभरी है, जो पहले ही उन्हें सुर्खियों में ला चुकी है। वहीं, रिलायंस रिटेल का कहना है कि यह फैसला उपभोक्ताओं की बदलती प्राथमिकताओं और नैतिक मानकों को दर्शाता है।
जानवरों के कल्याण और कॉर्पोरेट नैतिकता पर चल रही यह चर्चा अनंत अंबानी की पहल और उसकी आलोचनाओं के जरिए व्यापारिक प्रथाओं और सामाजिक मूल्यों के जटिल संबंध को उजागर करती है।